Mahamash Tail | महामाष तेल (निरामिष)



महामाष तेल शास्त्रीय आयुर्वेदिक औषधि है जो वातरोगों में असरदार है. इसकी मालिश से मसल्स को ताक़त मिलती है, जोड़ों का दर्द, सुजन, जकड़न, लकवा, पक्षाघात, साइटिका और आमवात में फ़ायदा होता है. तो आइये जानते हैं महामाष तेल का कम्पोजीशन, इसके फ़ायदे और इस्तेमाल के बारे में पूरी डिटेल –


महामाष तेल के घटक या कम्पोजीशन- 


जैसा कि इसके नाम से ही पता चलता है इसका मुख्य घटक माष यानि उड़द की दाल होती है जिसे तिल तेल के बेस पर बनाया जाता है. इसे महामाष तेल निरामिष भी कहते हैं, दुसरे तेल में नॉन वेज मटेरियल भी होता है, पर इसमें नहीं. 


इसके कम्पोजीशन की बात करें तो इसमें – माष, तिल का तेल, गाय का दूध, दशमूल, एरण्ड मूल, बला, जेठीमध, देवदार, इलायची, रासना, जटामांसी, खरेटी, घोड़बच, सोया, कचूर, सोंठ, मिर्च पीपल, अगर, पुनर्नवा, सेंधा नमक, विदारीकन्द, प्रसारनी और अश्वगन्धा जैसी जड़ी-बूटियाँ मिली होती हैं जिसे आयुर्वेदिक प्रोसेस तेलपाक विधि से तेल सिद्ध किया जाता है. 


महामाष तेल के फ़ायदे- 


यह हर तरह के वात रोगों में फ़ायदेमंद है, जोड़ों का दर्द, मसल्स का दर्द, जकदन, गठिया, आमवात, कम्पवात, एकांगवात, अर्धांगवात, लकवा, पक्षाघात, बॉडी में कहीं भी होने वाला मसल्स और हड्डी का दर्द जैसे  हर तरह के दर्द वात व्याधि में इसकी मालिश करनी चाहिए. 


कान में सांय-सांय की आवाज़ होना, घंटी बजना, Tinnitus में इसे कान में डालना चाहिए. 


शीघ्रपतन और लिंग की कमज़ोरी में भी इसकी मालिश से फ़ायदा होता है. 


महामाष तेल की प्रयोग विधि –


प्रयाप्त मात्रा में इस तेल को लेकर पीड़ित स्थान पर रोज़ दो-तीन बार मालिश करनी चाहिए. यह बिल्कुल सेफ तेल है, सभी लोग इसकी मालिश कर सकते हैं. डाबर के 50ML की क़ीमत 290 रुपया है जबकि कामधेनु के 100ML की क़ीमत सिर्फ 188 रुपया है, इसे ऑनलाइन खरीदें निचे दिए लिंक से – 


इसे भी जानिए –



पतंजलि पीड़ान्तक तेल 

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