सिकल सेल एनीमिया का नाम आपने सुना ही होगा, एक और जहाँ allopath इसमें फ़ेल है तो वहीँ दूसरी ओर आयुर्वेद इस रोग को नष्ट करने की क्षमता रखता है. वैद्य जी की डायरी में इसी के बारे में आज एक उपयोगी जानकारी दे रहा हूँ -
सिकल सेल एनीमिया क्या है?
सिकल सेल एनीमिया खून की ऐसी बीमारी है जिस से खून में RBC या लाल रक्त कोशिकाएँ बहुत कम बनती हैं. आधुनिक विज्ञान इसे जेनेटिक या आनुवांशिक मानता है.
स्वस्थ शरीर में हीमोग्लोबिन की कोशिका ऐसी होती है जबकि सिकल सेल में कुछ इस तरह की दिखती है.
इसके रोगी की औसत आयु बहुत कम जाती है. ये सब जानकारी तो आपको कहीं भी मिल जाएगी, आईये जानते हैं कि आयुर्वेद में इसका क्या उपाय है-
सिकल सेल एनीमिया के लिए असरदार आयुर्वेदिक योग -
सिकल सेल एनीमिया नाशक योग
यह एक बहुत अनुभवी वैद्य जी का योग है जो आपके सामने प्रस्तुत कर रहा हूँ. इसके लिए आपको यह औषधियाँ लेनी होगी -
सहस्रपुटी अभ्रक भस्म 2 ग्राम + मुक्ता पिष्टी(न. 1) 2 ग्राम + पूर्णचन्द्रोदय मकरध्वज 2 ग्राम + प्रवाल पिष्टी 2 ग्राम + कसीस भस्म 2 ग्राम + पुटपक्व विषमज्वरांतक लौह 1 ग्राम और असली बंशलोचन 5 ग्राम
सिकल सेल एनीमिया नाशक योग की निर्माण विधि कुछ इस तरह से है-
सबसे पहले पूर्णचन्द्रोदय मकरध्वज को अच्छी तरह से खरल कर लें इसके बाद बारीक पिसा हुआ बंशलोचन और दुसरे भस्मो को मिलाकर ताज़ी गिलोय के रस, भृंगराज के रस और त्रिफला के क्वाथ की एक-एक भावना देकर सुखाकर रख लें. बस सिकल सेल एनीमिया नाशक योग तैयार है.
मात्रा और सेवन विधि
चार रत्ती या 500 mg सुबह-दोपहर-शाम शहद से यह व्यस्क व्यक्ति की मात्रा है. बच्चों को आधी से एक रत्ती तक उनकी उम्र के अनुसार रोज़ तीन बार तक शहद से चटाना चाहिए.
औषध सेवन काल में पथ्य-अपथ्य का भी पालन कराएँ. नमक, मिर्च-मसाला, तेल, फ्राइड फ़ूड और गरिष्ठ भोजन से परहेज़ करना चाहिए.
गाजर, टमाटर, चुकन्दर, अनार, खजूर, मुनक्का या किशमिश और अंजीर का सेवन करना चाहिए.