धातुपौष्टिक चूर्ण पुरुष रोगों के लिए बेहद असरदार दवा और टॉनिक है इसके इस्तेमाल से शरीर की कमज़ोरी दूर होकर बल और धातु की वृद्धि होती है
यह पुरुष प्रजनन तंत्र या रि प्रोडक्टिव सिस्टम को मजबूत बनाता है इरेक्टाइल डिसफंक्शन, शीघ्रपतन, वीर्य विकार, स्वप्नदोष और नपुंसकता जैसे पुरुष रोगों को दूर करने के लिए इसका इस्तेमाल किया जाता है
धातुपौष्टिक चूर्ण का कम्पोजीशन -
शतावर, गोखुरू, बीजबन्द, बंशलोचन, कबाब चीनी, चोपचीनी, कौंच बीज, सफ़ेद मुसली, काली मुसली, सोंठ, मिर्च, पीपल, सालब मिश्री, विदारीकन्द, असगंध, निशोथ और मिश्री के मिश्रण से इस चूर्ण को बनाया जाता है
जैसा कि आपने अभी जाना इसमें मिलायी जाने वाली सारी जड़ी बूटियां पुरुष रोगों के लिए बेहद असरदार हैं, जो इस दवा को प्रभावशाली बना देती हैं
आईये अब जानते हैं धातुपौष्टिक चूर्ण के फ़ायदे के बारे में -
यह दवा बल और धातु को बढ़ाती है जिस से शरीर में ताक़त आती है और कमज़ोरी दूर होती है
वीर्य विकार को दूर कर वीर्य को गाढ़ा बनाती है और sperm count या शुक्राणुओं की संख्या बढ़ाती है
नसों की कमज़ोरी को दूर कर भरपूर तनाव लाने में मदद करती है, कामोद्दीपक है यानि सेक्स इच्छा बढ़ाने वाले गुणों से भरपूर है और नपुंसकता को दूर करती है
अनजाने में वीर्य निकल जाना, स्वप्नदोष, शीघ्रपतन और इरेक्टाइल डिसफंक्शन में इसके इस्तेमाल से फ़ायदा होता है
कब्ज़ या Constipation को दूर कर पेट साफ़ करने में मदद करती है
धातुपौष्टिक चूर्ण का डोज़-
3 से 5 ग्राम तक सुबह शाम दूध के साथ खाना खाने के बाद लेना चाहिए
यहाँ मैं बताना चाहूँगा कि जिनकी पाचन शक्ति कमज़ोर हो या पाचन की प्रॉब्लम हो उनको इसका इस्तेमाल करने से पहले पाचन शक्ति ठीक कर लेनी चाहिए
क्योंकि कमज़ोर पाचन शक्ति होने पर यह दवा पचेगी नहीं और फिर इसका सही लाभ नहीं मिल पायेगा
वैसे यह सुरक्षित दवा है, किसी तरह का साइड इफ़ेक्ट नहीं होता. लम्बे समय तक प्रयोग किया जा सकता है
तो दोस्तों, ये थी आज की जानकारी पुरुष रोगों की दवा और टॉनिक धातुपौष्टिक चूर्ण के फ़ायदे के बारे में
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